नेपाल में मचे बवाल के बीच PM ओली ने बुलाई सर्वदलीय बैठक
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काठमांडू । नए संविधान के विरोध में पिछले करीब सौ दिनों से भी ज्यादा समय से नेपाल सुलग रहा है। मधेसी अपनी मांग तेज करने के लिए लगातार अपना विरोध प्रदर्शन तेज कर रहे हैं। ऐसे में वहां के प्रधानमंत्री केपी शर्मा ओली ने सोमवार को सर्वदलीय बैठक बुलाई है। इस बैठक में मधेसी की संविधान को लेकर मांगों पर विचार किया जाएगा।
काठमांडू। नेपाल सशस्त्र प्रहरी ने रविवार की सुबह एसएसबी (सशस्त्र सीमा बल) के 13 जवानों को बंधक बना लिया। वे तस्करों का पीछा करते हुए नेपाल की सीमा में प्रवेश कर गए थे। मामला दो देशों का होने के कारण खलबली मच गई। बाद में दोनों देश के अधिकारियों की बातचीत के बाद जवानों को मुक्त किया गया।
एसएसबी अधिकारियों के अनुसार, भारत-नेपाल सीमा पर तैनात एसएसबी कद्दुभीट्टा बीओपी के जवान सीमा पर गश्त लगा रहे थे। इसी दौरान सुबह पांच बजे कुछ तस्कर सामान के साथ सीमा पार कर रहे थे। एसएसबी जवान रेहान कुमार और राम प्रसाद ने तस्करों का पीछा किया तो वे नेपाल खुटामनी गांव के लालमन नामक व्यक्ति के घर घुस गए। पीछा करते एसएसबी के दोनों जवान भी वहां पहुंच गए। इसके बाद घर के मालिक द्वारा हंगामा करने के बाद दोनों जवानों को नेपाल सशस्त्र प्रहरी ने अपने कब्जे में ले लिया था।
एसएसबी जवानों को नेपाल सीमा में हथियार के साथ प्रवेश करने के आरोप में बंधक बनाकर खुटामनी नेपाल सशस्त्र प्रहरी कार्यालय में रखा गया। कुछ देर बाद अपने साथी जवानों को छुड़ाने के लिए शेष 11 जवान भी अपने हथियार के साथ नेपाल सशस्त्र प्रहरी कार्यालय पहुंच गए। जहां नेपाली जवानों द्वारा उन्हें भी बंधक बना लिया गया।
बताया जाता है कि गृह मंत्रालय भारत सरकार के हस्तक्षेप के बाद 12वीं बटालियन के द्वितीय सेनानायक डीवी नेगी, एसडीपीओ कामिनी बाला दल-बल के साथ मामले को सुलझाने के लिए सुखानी थाना क्षेत्र के भारत-नेपाल सीमा पर पहुंचीं। अधिकारियों की आपसी बातचीत कर ठोस करार के बाद जवानों को हथियार के साथ एसएसबी 12वीं बटालियन के द्वितीय सेनानायक डीवी नेगी के हवाले कर दिया गया।
नेपाल में भारतीय चैनलों के प्रसारण पर रोक
महराजगंज : नेपाल में एकीकृत माओवादी पार्टी से अलग हुए माओ कार्यकर्ताओं ने भारत पर आर्थिक नाकाबंदी का आरोप लगा मोर्चा खोल दिया है। रविवार को भैरहवा, बुटवल व नरायनघाट जैसे प्रमुख कस्बों में केबल ऑपरेटरों पर दबाव बनाकर भारतीय चैनलों का प्रसारण बंद करवा दिया गया।
नेपाली सिनेमाघरों में भारतीय फिल्म चलाने पर भी प्रतिबंध लगा दिया गया है। कई स्थानों पर भारतीय वाहनों पर पथराव व आगजनी की कोशिश की गई। नेपाल के नए संविधान में संशोधन की मांग को लेकर शुरू हुआ मधेशी आंदोलन धीरे धीरे भारत विरोधी रुख अख्तियार कर रहा है।
दो दिन पूर्व एकीकृत माओवादी से अलग हुए पूर्व प्रधानमंत्री बाबूराम भटराई के समर्थकों (विप्लव माओवादियों) ने भारत पर आवश्यक सामग्रियों की आपूर्ति न करने व आर्थिक नाकाबंदी का आरोप लगा भारतीय दूतावास के वाहनों में आग लगा दी थी। source;Jagran

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